Advertisement Section

महाकुंभ में उठेगा धर्म संसद के विरुद्ध हुई अभद्रता का मामला, यति ने फिर लिखा सीएम को रक्त-पत्र

Read Time:3 Minute, 51 Second

हरिद्वार, 21 दिसम्बर। धर्म संसद में प्रशासनिक अमले की ओर से पहले दिन की गई कार्रवाई के बाद भी संतों का तीसरे दिन हुंकार अखाड़े में गूंजा। सभी ने धर्म संसद को लेकर की गई कार्रवाई को अभद्रता बताया। कहा कि यह पूरा प्रकरण अब प्रयागराज के महाकुंभ में उठेगा। वहीं जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद ने फिर से रक्त निकालकर मुख्यमंत्री को पत्र लिखा और प्रशासनिक कार्रवाई के प्रति आक्रोश जताया।

जूना अखाड़े के मुख्यालय में आयोजित कार्यक्रम के दौरान संतों ने दस दिवसीय मां बगलामुखी महायज्ञ को भी संपन्न किया। उन्होंने धर्म संसद के अंतिम दिन मौजूद श्रद्धालुओं को इस्लामिक जिहाद के प्रति मुखरता से आवाज उठाने और इसके समूल विनाश का संकल्प दिलाया। संतो ने बांग्लादेश व पाकिस्तान के हिंदुओं की रक्षा के लिए केंद्र सरकार और विश्व पटल पर बात रखने की रणनीति तैयार की। साथ ही कहा कि पाकिस्तान और बांग्लादेश में प्रताड़ित हिंदुओं के लिए अलग राष्ट्र बनाया जाना चाहिए। जिस तरह हिंदुस्तान के कुछ मुस्लिम नेताओं ने अलग राष्ट्र पाकिस्तान बनाया उसी तरह से बांग्लादेश और पाकिस्तान के हिंदुओं के लिए भी अलग राष्ट्र बनाना होगा।

महाकुंभ में मुस्लिमों का प्रवेश वर्जित करने पर लगाए जयकारे
धर्म संसद के अंतिम दिन महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी महाराज ने अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत रविन्द्रपुरी महाराज, महामंत्री श्रीमहंत हरि गिरी महाराज सहित पूरी कार्यकारिणी को महाकुंभ में मुस्लिमों के प्रवेश वर्जित करने के लिए धन्यवाद दिया। उन्होंने संत समाज से सनातन वैदिक राष्ट्र के लिए संघर्ष करने और जाति मुक्त सनातन समाज बनाने की प्रार्थना की। विश्व धर्म संसद की मुख्य संयोजक डॉ. उदिता त्यागी ने सभी संताें और प्रबुद्ध वर्ग से विश्व में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार को लेकर एकजुटता का आह्वान किया।

सनातन बोर्ड के गठन पर होगी रायशुमारी
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि जो भी दुर्व्यवहार हुआ है वह काफी गलत है। सनातन धर्म और उसकी रक्षा के लिए महामंडलेश्वर नरसिंहानंद काम कर रहे हैं। उन्होंने 27 जनवरी को प्रयागराज में आयोजित धर्म संसद में समूचे सनातन की रायशुमारी के बाद सनातन बोर्ड पर निर्णय की बात पर जोर दिया। श्रीमहंत ने कहा कि समूचे देश में संतों का एक दल जाएगा और फिर सबसे परामर्श के बाद ही सनातन बोर्ड के गठन की बात की जाएगी।

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %
Previous post उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में भूकंप के झटके, अभी तक किसी प्रकार के कोई जानमाल के नुकसान की जानकारी
Next post प्रत्येक अस्पताल में लगेगी बायोमेट्रिक हाजिरी, लंबे समय से गायब डाॅक्टरों पर होगी कार्रवाई