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व्यापारियों को मिलने वाले दुर्घटना बीमा के साथ साथ सामान्य मौत पर भी बीमा की सुविधा मिलनी चाहिए।

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श्रेष्ठन्यूज़ देहरादून उत्तराखंड संपादक वन्दना रावत।

रुद्रपुर। प्रदेश सरकार के वित्त विभाग की ओर से नैनीताल में बजट पर संवाद कार्यक्रम में प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और वित्त मंत्री प्रेम चंद अग्रवाल को रुद्रपुर व्यापार मंडल ने व्यापारियों को मिलने वाले दुर्घटना बीमा के साथ साथ सामान्य मौत पर भी बीमा की सुविधा दिलाने व व्यापारियों का बीमा पांच लाख से बढ़ाकर दस लाख रूपया किए जाने की मांग रखते हुए ज्ञापन भी सौपा।
गत शाम नैनीताल बोट हाउस क्लब में प्रदेश सरकार द्वारा बजट पर संवाद कार्यक्रम में रुद्रपुर व्यापार मंडल अध्यक्ष संजय जुनेजा ,महामंत्री हरीश अरोरा व युवा व्यापार मंडल महामंत्री पवन गाबा ने व्यापारियों की समस्याओं पर वित्तमंत्री का ध्यानाकर्षण वा सुझाव देते कहा कि राज्य कर विभाग द्वारा प्रत्येक रजिस्टर्ड व्यापारी का दुर्घटना बीमा पांच लाख का करवाया जाता है लेकिन व्यापारी के सामान्य मौत के दौरान दुर्घटना बीमा का लाभ परिवारजनों को नहीं मिलता है ऐसे में दुर्घटना बीमा के बजाय सामान्य मौत पर भी बीमा मिलना चाहिए साथ ही बीमा की धनराशि पांच लाख से बढ़ाकर दस लाख की जानी चाहिए।व्यापारियों ने यह भी कहा कि पिछले 2 वर्षों से जनपद उधम सिंह नगर से अपीलीय अधिकारी रुद्रपुर से हटाकर नैनीताल जनपद के हल्द्वानी में नियुक्ति कर दी गई है जिससे अपीलीय अधिकारी पर दोनो जिलों का बोझ बन गया है और वादों का निस्तारण समय से नही हो पा रहे है ,अपीलीय अधिकारी की पुनः रुद्रपुर में नियुक्ति होनी चाहिए।
व्यापार मंडल अध्यक्ष संजय जुनेजा ने यह भी कहा कि उत्तराखंड प्रदेश पर्वतीय प्रदेश है यहां पर आपदा का सदैव भय बना रहता है ऐसे में प्रदेश सरकार द्वारा आपदा कोष का गठन किया जाना चाहिए जिससे कि आपदा आने पर व्यापारियों को प्रदेश सरकार द्वारा सम्मानजनक आर्थिक सहयोग मिल सके।
व्यापार मंडल ने यह भी कहा कि व्यापारियों की आरसी जारी होने के बाद सेक्टर में धारा-31 नहीं खोली जाती है अगर सेक्टर में पुनः धारा-31 खोली जाएगी तो व्यापारियों को अनावश्यक दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़ेगा, व्यापारियों ने यह भी कहा कि इंश्योरेंस कंपनी द्वारा व्यापारियों से प्रत्येक वर्ष हजारों रुपए जमा करवाए जाते हैं जब व्यापारी को इंश्योरेंस कंपनी से लाभ लेना होता है तो कंपनियों द्वारा अनाप-शनाप कागजी कार्रवाई में फंसा दिया जाता है ऐसे में व्यापारियों का शोषण होता है उन्होंने वित्त मंत्री से आग्रह किया कि इंश्योरेंस कंपनियों को सरल व व्यावहारिक बनाने के लिए उचित कार्रवाई करने के लिए निर्देशित किया जाए।
ज्ञापन में व्यापारियों ने यह भी कहा कि जीएसटी बिल बनाने पर मानवीय भूल हो जाने पर राज्यकर के अधिकारी व्यापारियों को चोर समझते हैं और अनावश्यक रूप से परेशान करते हैं मानवीय भूल हो जाने पर व्यापारी का आर्थिक शोषण भी किया जाता है जो कि सरासर गलत है।
व्यापार मंडल अध्यक्ष संजय जुनेजा के संबोधन को सुनते हुए वित्त मंत्री प्रेमचंद्र अग्रवाल व वित्त सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम ने सराहना की साथ ही कहा कि आने वाले बजट में व्यापारियों को किसी भी तरह की दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़ेगा।

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